ग्रामोदय विश्वविद्यालय का दीक्षांत समारोह 11 अक्टूबर को होगाभारतीय ज्ञान परंपरा एवं सतत पर्यावरण पर राष्ट्रीय संगोष्ठी 26 व 27 सितंबर को होगी
1 min read

चित्रकूट, 3 सितंबर 2025। महात्मा गांधी चित्रकूट ग्रामोदय विश्वविद्यालय के कुलगुरु प्रो भरत मिश्रा की अध्यक्षता में संपन्न वरिष्ठ अधिकारियों की मासिक बैठक में मंगलवार को नियमित, दूरवर्ती एवं सीएमसीएलडीपी पाठ्यक्रमों के परीक्षा परिणाम की समीक्षा के साथ आगामी दीक्षांत समारोह के तैयारी पर विस्तृत चर्चा हुई। दीक्षांत समारोह संस्थापक कुलाधिपति भारत रत्न राष्ट्र ऋषि नानाजी देशमुख के जन्म दिवस, 11 अक्टूबर 2025 को विश्वविद्यालय परिसर में संपन्न होगा। कुलगुरु प्रो भरत मिश्रा ने कुल सचिव प्रो आर सी त्रिपाठी द्वारा प्रस्तुत दीक्षांत समारोह आयोजन के लिए विभिन्न व्यवस्था समितियां के प्रस्ताव को कतिपय संशोधन के साथ अनुमोदन प्रदान किया। साथ ही निर्देशित किया कि इस मौके पर किसान भवन के प्रथम तल के उद्घाटन की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। कुलगुरु प्रो भरत मिश्रा ने कहा कि ग्रामोदय विश्वविद्यालय अब नेक बैंगलोर से ए डबल प्लस एवं यूजीसी दिल्ली से श्रेणी : एक की स्वायत्तता प्राप्त विश्वविद्यालय है । दीक्षांत समारोह में ग्रामोदय विश्वविद्यालय की उपलब्धियों, गुणवत्ता और नवाचारी वैशिष्ट्य की झांकी प्रदर्शित की जानी चाहिए। कुलगुरु प्रो मिश्रा ने 26 एवं 27 सितंबर 2025 को आयोजित भारतीय ज्ञान परंपरा एवं सतत पर्यावरण विषय पर आयोजित राष्ट्रीय संगोष्ठी के तैयारी की भी समीक्षा की। इस दौरान वार्षिक योजना पर चर्चा करते हुए सितंबर माह के आगामी कार्यक्रमों एवं समय सारणी को अनुमोदित किया गया। कुलसचिव प्रो आर सी त्रिपाठी ने गत माह संपन्न बैठक में हुए निर्णय का पालन प्रतिवेदन प्रस्तुत करते हुए बताया कि दूरवर्ती माध्यम और नियमित रूप से संचालित स्नातक, परास्नातक, पी जी डिप्लोमा, डिप्लोमा, सर्टिफिकेट स्तर के पाठ्यक्रमों में प्रवेश की अंतिम तिथि बढ़ाकर 15 सितंबर 2025 कर दी गई है। बैठक में अधिष्ठाता, विभागाध्यक्ष, निदेशक ,अध्यक्ष प्रवेश समिति, प्रभारी आईसीटी, कुलानुशासक, अधिष्ठाता छात्र कल्याण, परीक्षा नियंत्रक, लेखा नियंत्रक, उप कुल सचिव, प्रभारी कंप्यूटर सेंटर , क्रय अधिकारी, छात्रावास अधीक्षक पुरुष/ महिला, समन्वयक राष्ट्रीय सेवा योजना, प्राचार्य दीनदयाल उपाध्याय कौशल केंद्र, मुख्य सुरक्षा अधिकारी, जनसंपर्क अधिकारी, प्रभारी यांत्रिक इकाई, प्रभारी कार्यशाला, समन्वयक आइटीईपी कार्यक्रम और आईटीसी प्रोग्रामर , कुलसचिव के निजी सहायक आदि मौजूद रहे। धन्यवाद ज्ञापन कुलसचिव प्रो आरसी त्रिपाठी ने किया।
About The Author
















