हाथी ने ली ग्रामीण की जान
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( ब्यूरो न्यूज़ )
धरमजयगढ़ वनमंडल के आमगांव क्षेत्र में गुरुवार तड़के एक दर्दनाक और दुर्भाग्यपूर्ण घटना घटी, जिसमें हाथी ने एक युवक पर हमला कर दिया, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई। मृतक युवक की पहचान बायसी गांव निवासी के रूप में हुई है, जो मेहमानी कर अपने गांव लौट रहा था।
जानकारी के अनुसार, यह घटना सुबह करीब 4 बजे के आसपास की है जब झुण्ड से बिछड़े एक हाथी ने आमगांव के पास युवक पर हमला कर दिया। युवक क़ी मौके पर ही मौत हो गई ! तत्काल वन विभाग को सूचना दी। सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम मौके पर पहुंची और आवश्यक कार्रवाई की।
“वन विभाग के प्रयास से हाथी मानव द्वन्द में आई कमी “
धरमजयगढ़ वनमंडलाधिकारी अभिषेक जोगावत ने घटना की पुष्टि करते हुए इसे अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण बताया। उन्होंने कहा कि, “वन विभाग द्वारा लगातार क्षेत्र में हाथी-मानव द्वंद को रोकने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। विभाग द्वारा गांव-गांव मुनादी कराई जाती है, चेतावनी बोर्ड लगाए गए हैं, ‘हाथी मित्र’ दल गठित कर निगरानी की जाती है, स्मार्ट स्टिक वितरित की गई हैं और वॉच टावर जैसी निगरानी व्यवस्थाएं भी उपलब्ध कराई गई हैं। इन सभी उपायों से हाथी-मानव संघर्ष में कमी आई है, लेकिन कभी-कभी अप्रत्याशित घटनाएं सामने आ जाती हैं।”
श्री जोगावत ने आगे बताया कि घटना के तुरंत बाद वन विभाग द्वारा मृतक के परिजनों से संपर्क किया गया और नियमानुसार मुआवजा राशि प्रदान करने की प्रक्रिया प्रारंभ कर दी गई है। तात्कालिक सहायता राशि मृतक के परिजनों को दे दी गई है !
क्षेत्र में इस वर्ष की पहली जनहानि
यह वर्ष की पहली घटना है, जब हाथी के हमले से धरमजयगढ़ वनमंडल क्षेत्र में किसी व्यक्ति की जान गई है। आमगांव सहित आस-पास के गांव हाथी प्रभावित क्षेत्र में आते हैं और इस क्षेत्र में पहले भी हाथियों की आमद देखी गई है। हालांकि, वन विभाग की जागरूकता और निगरानी व्यवस्थाओं के चलते पिछले कई महीनों से इस तरह की कोई जनहानि नहीं हुई थी।
घटना के बाद आमगांव और आसपास के इलाकों में दहशत का माहौल है। ग्रामीणों ने वन विभाग से अपील की है कि गश्त बढ़ाई जाए और हाथियों की आवाजाही की पहले से सूचना सुनिश्चित की जाए, ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाओं को टाला जा सके।

धरमजयगढ़ वनमंडल में हाथियों की गतिविधि कोई नई बात नहीं है, लेकिन इस प्रकार की जनहानि वाकई दुखद और चिंताजनक है। वन विभाग भले ही सभी उपाय कर रहा हो, लेकिन ग्रामीणों की सुरक्षा के लिए और अधिक ठोस कदम उठाए जाने की आवश्यकता है।
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